क्या हो अगर आप पीरियॉडिक टेबल का एक असल नमूना बना लें। An Actual Model Of Periodic Table? - What is Model Periodic Table.

क्या हो अगर आप अपने स्कूल की पढ़ाई को अगले स्तर पर ले जाएं और जितने हो सकें उतने Elements यानी तत्वों के नमूने इकट्ठा करने का फैसला करें? 

आप पीरियॉडिक टेबल में कितना आगे तक जा सकते हैं? क्या आप कोई कानून तोड़ रहें होंगे? किस मोड़ पर आपकी पीरियॉडिक टेबल आपको मार ना शुरू कर देगी?

आप पढ़ रहे हैं ‘‘क्या हो अगर’’ और ये है क्या हो अगर आप पीरियॉडिक टेबल का एक असल नमूना बना लें ?

Image credit :- msichicago.org

अगर आप 1,700 डॉलर खर्च करने के लिए तैयार हैं तो आप वाकई Elements का एक बना-बनाया सेट ऑनलाइन ख़रीद सकते हैं। पर जब आप ख़ुद ही अमने सारे Elements तैयार कर सकते हैं तो इसमें क्या ही मज़ा है?( Can The Periodic Table Change)

1982 के बाद बने किसी सिक्के की ऊपरी कॉपर यानी तांबे की परत को हटा दें और आपको मिलेगा शुद्ध ज़िंक यानी जस्ता। 

एमरीसियम के लिए कुछ स्मोक डिटेक्टर्स उतार लें। आख़रि में, आप अपने पुराने फ़ोन से कुछ शुद्ध सोना यानी गोल्ड भी इकट्ठा कर सकते हैं। 

आप अपने Elements को चाहे जैसे इकट्ठा करें आपको हमेशा इन्हें सील की हुई बोतलों में रखना होगा। 

लेकिन क्या होगा अगर आप ऐसा ना करें? क्या हो अगर आप उत्सुकता के चलते इन सभी 118 एलिमेंट्स को ठीक असली टेबल की तरह साथ रखें कांच की किसी दीवार के बिना? 

पीरियॉडिक टेबल में सात पंक्तियां होती हैं। पहली पंक्ति से शुरुआत करें तो हाइड्रोजन और हीलियम से कोई परेशानी नहीं आएगी बस ये ऊपर उठने लगेंगी और एक दूसरे से अलग बिखरने लगेंगी। 

• Are Periodic Table Arranged ?

ये Elements बिल्कुल आपके शर्मीले दोस्तों की तरह हैं जो हमेशा पार्टी के ज़ोर पकड़ने के पहले ही चले जाते हैं। इसके बाद, दूसरी पंक्ति। 

अगर आप ज़्यादा सावधानी नहीं बरतेंगे तो आपको खांसी आने लगेगी और सांस लेने में परेशानी होने लगेगी। बेरीलियम के ज़हर का असर देखने में कुछ ऐसा ही लगता है। 

अब आपको एक गैस मास्क पहन लेना चाहिए क्योंकि आपकी ज़मीन पर पीली फ्लोरीन गैस फैल रही होगी और अपने संपर्क में आने वाली हर चीज़ को जला रही होगी। 

दूसरी पंक्ति के बाक़ी के Elements हानिकारक नहीं होंगे नियोन बस बह जाएगी, वहीं ऑक्सीजन और नाइट्रोजन तब तक एक दूसरे से अलग भागेंगे जब तक वो दूर ना बह जाएं। 

आप केवल दो पंक्तिंयों पर नहीं रुकेंगे, है ना? नहीं। तो, तीसरी पंक्ति की तरफ़ आगे बढ़ेंगे। ये आपको आग में जला देगी। 

आमतौर पर, सल्फ़र बदबू फैलाने के अलावा कुछ बुरा नहीं करता। लेकिन फ्लोरीन और क्लोरीन जब इसके साथ हों तो ये तुरंत ही आग पकड़ लेगा। इसके ऊपर, सफ़ेद फॉस्फोरस ख़ुद गर्म लप्टों में बदल जाएगा जिन्हें बुझाना बहुत मुश्किल होगा। 

शायद आपको केवल रसायन विज्ञान की कक्षा में होने वाले प्रयोगों तक सीमित रहना चाहिए था.... हम्म बल्कि, आपकी लैब में आग लगने के बाद भी आप चौथी पंक्ति इकठा करना शुरू करेंगे। 

ठीक है। इस मिश्रण में पोटेशियम मिलाने से आर्सेनिक में भी आग लग जाएगी जिससे आर्सेनिक टाईऑक्साइड की भारी मात्रा निकलने लगेगी। 

ज़ाहिर है, आप इस ज़हरीली चीज़ को सांस के साथ अंदर नहीं लेंगे। हालांकि कुछ दिलचस्प चीज़ें भी होंगी। जैसे-जैसे आपकी पीरियॉडिक टेबल के Elements एक दूसरे के साथ रिएक्ट करना शुरू करेंगे अल्यूमिनियम गीले कागज़ जितना नर्म हो जाएगा। 

सल्फ़र की दुर्गंध सुधरने लगेगी। पर अगर आप सावधानी नहीं रखेंगे तो ज़हरीले पदार्थों के संपर्क में आने से आपकी जान जा ही चुकी होगी। 

ये ज़हरीले Elements आपके शरीर को ‘‘खाने लगेंगे’’ और आपके मास्क को भी! पर आप इतने समझदार हैं कि इस प्रयोग में इतनी जल्दी नहीं मरेंगे... आप एक सुरक्षित दूरी से ये सब देख रहे होंगे और आप पांचवी पंक्ति को इकट्ठा करने के लिए ज़िंदा बचे रहेंगे। 

ये पंक्ति बहुत हद तक चौथी पंक्ति की तरह होगी बस एक चीज़ को छोड़कर मिलिए. आपके Elements में से पहले रेडियोएक्टिव यानी रेडियोधर्मी एलिमेंट Technisiam से

• क्या आप अब भी ज़िंदा हैं? 

ख़ैर, अगली पंक्ति इसे देख लेगी। क्योंकि छठी पंक्ति में रोडॉन, पोलोनियम, प्रोमीथियम और एस्टैटीन यानी सभी रेडियोधर्मी एलिमेंट्स आते हैं आपको इसके पास नहीं जाना चाहिए कभी नहीं। 

इन्हें साथ रखने से एक बड़ा धमाका होगा और ज़हरीली आग और धूल का एक बादल बन जाएगा। कुछ ही मिलीसेंकेड्स में आपको रेडिएशन की एक जानलेवा ख़ुराक मिल जाएगी।

अब, आपकी पीरियॉडिक टेबल की सांतवी पंक्ति को इकट्ठा करने के लिए शायद कोई नहीं बचा होगा। शायद ये ही अच्छा भी है क्योंकि इसके ज़्यादातर एलिमेंट्स इतने अस्थिर हैं कि ये कुछ मिनटों से ज़्यादा वजूद में नहीं रह सकते। 

इनका रेडियोएक्टिवली उन Element में पतन हो जाएगा जिनका ख़ुद भी पतन हो जाता है। सोच रहे होंगे ये कैसा दिखता होगा? 

एक सातवीं पंक्ति जोड़ देने से होने वाला रिएक्शन ऐसा होगा जैसे एक परमाणु बम का बार-बार फटना। एक मशरूम के आकार का बादल उस इलाक़े के ऊपर छा जाएगा।

ये केवल एक रेडियोएक्टिव राख बिखेरने वाली घटना नहीं होगी बल्कि ये अपने पीछे हज़ारों चर्नोबिल आपदाओं जितने रेडियोएक्टिव पदचिन्ह छोड़ देगी। तो, अगर आपको कोई नया शौक़ आज़माना है तो याद रहे कि इक्ट्ठी करने के लिए इससे बेहतर भी कई चीज़ें हैं। 

जैसे कि हम आपके ‘‘क्या हो अगर’’ के आइडियाज़ को इकट्ठा कर काल्पनिक हालातों पर लेख बनाते हैं। हमें व्यस्त रखने के लिए शुक्रिया! और अपने आइडियाज़ को नीचे कमेंट्स के ज़रिए हम तक पहुंचाना जारी रखें। 

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